Thursday 6 August 2015

चालान से रिश्वत और भ्रष्टाचार

"चालान से रिश्वत और भ्रष्टाचार"

चालान के चक्कर में ट्रैफिक पुलिस वाला भी
कभी कभी ऐसे ऐंठता है l
बाइक पर सीट बेल्ट और कार में हेलमेट जैसे सवाल
पूछ बैठता है ll
९०% चालान रिश्वत में कन्वर्ट हो जाते हैं l
९५% अन्ना हज़ारे वाले आंदोलनकारी भी
भ्रष्टाचार की यह रस्म बखूबी निभाते हैं ll
एक सफल डील के बाद लोगों के हाव भाव ही बदल जाते हैं l
खुद को हसन अली और नीरा राडिया समझने लग जाते हैं ll
आज की सफलता कल का हौसला बढ़ा जाती है l
पैसों की पेशगी ईमानदारों का ईमान डगमगा जाती है ll
आपकी यह हरक़त एक सामाजिक बुराई पैदा कर जाती है l
और अंत में ऊँगली बस सरकार पर उठाई जाती है ll
कभी खुद के गिरेबां में झाँक कर देख लें
इतनी बुराइयां नज़र आ जायेंगी l
दूसरों की कमियां देखने को फिर
आपकी नज़रें ना उठ पायेंगी ll

~ राहुल मिश्रा ~